सऊदी अरब में बना नया प्लेटफार्म, जो देगा भूकंप के खतरों की जानकारी !

Earthquake Online Platform : डेटा एकत्र करने और भूकंप के खतरों पर महत्वपूर्ण जानकारी देने के लिए सऊदी अरब में एक नया ऑनलाइन मंच शुरू किया गया है. रिपोर्ट के मुताबिक सऊदी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण का रिस्क बेस प्लेटफॉर्म देश में अपनी तरह की पहली वैज्ञानिक डिजिटल सेवा होगी जो जमीनी कंपन पर डेटा उत्पन्न करेगी और विश्लेषकों की मदद के लिए कमजोर क्षेत्रों की पहचान करेगी, कि कहाँ पर भूकंप आने से ज़्यादा नुक्सान हो सकता है.

दरअसल इस पहल का उद्देश्य जनता को नागरिको को भूकंप जैसी प्राकृतिक आपदाओं के बारे में शिक्षित करना और संभावित खतरों पर सलाह और तकनीकी समाधान प्रदान करना है। सऊदी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण ने अपनी स्थापना के बाद से पृथ्वी विज्ञान के विशेष मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया है। सर्वेक्षण दल ने खनिज, भूजल अन्वेषण और खनिज संसाधनों के विकास के संबंध में भी उपाय किए है.

सऊदी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण विशेषज्ञ नवीनतम तकनीकों और पद्धतियों का उपयोग करके सरकार और अन्य हितधारकों को वैज्ञानिक जानकारी और मार्गदर्शन भी दे रहे हैं। स्थलाकृतिक और भूगर्भीय आधार मानचित्र, हवाई तस्वीरें, और उपग्रह इमेजरी संभावित खनिज संसाधनों और अनुप्रयुक्त भूवैज्ञानिक गतिविधियों का समर्थन करने में मदद करने के लिए भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण और मानचित्रण में मौलिक उपकरण बन गए हैं। SGS के अधिकारियों ने कहा, “इन पहलों का उद्देश्य भूगर्भीय मानचित्रों और उनके संबंधित भूविज्ञान डेटाबेस प्रविष्टियों और साम्राज्य के सभी क्षेत्रों को कवर करने वाले भूगर्भीय सर्वेक्षण को निरंतर अपडेट करना है.

भूकंप यंत्र में रिक्टर scale को हम ज्यादा जानते है क्योंकि रिक्टर scale से ही पता चलता है कि यह कितना खतरनाक है रिक्टर स्केल से भूकंपों की तुलना करते है यह 1 से 9 तक होता है यदि किसी भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 5 है और दूसरे भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 6 है इसका मतलब ये नही कि दूसरा भूकंप पहले भूकंप से सिर्फ एक ज्यादा है बल्कि रिक्टर scale में सिर्फ एक इकाई बढ़ने पर यह पहले भूकम्प से 10 गुना ज्यादा है.

जी हां रिक्टर स्केल रिक्टर भूकंप की तरंगों की तीव्रता मापने का एक गणितीय पैमाना है। किसी भूकम्प के समय भूमि के कम्पन के अधिकतम आयाम और किसी यादृच्छ (आर्बिट्रेरी) छोटे आयाम के अनुपात के साधारण लघुगणक को ‘रिक्टर पैमाना’ कहते हैं। रिक्टर पैमाने का विकास १९३० के दशक में किया गया था. जॉन मिल्ने को आधुनिक भूकंप विज्ञान बनाने का श्रेय दिया जाता है। अपने शोध के परिणामस्वरूप, वह सीस्मोग्राम पर विभिन्न पी-वेव, एस-वेव और सरफेस वेव आगमन को पहचानने में सक्षम थे। सबसे पहला भूकंप जिसके बारे में हमारे पास वर्णनात्मक जानकारी है, वह 1177 ईसा पूर्व में चीन में आया था। चीनी भूकंप सूची में अगले कुछ हज़ार वर्षों के दौरान चीन में कई दर्जन बड़े भूकंपों का वर्णन है।

इतिहास का सबसे बड़ा भूकंप मई 1960 में चिली में दर्ज किया गया था. इसकी तीव्रता 9.4 और 9.6 थी, जिससे लगभग 10 मिनट तक जमीन हिलती रही थी. इस भूकंप में करीब 6000 लोगों की जान गई थी. 1964 में गुड फ्राइडे के दिन आए ग्रेट अलास्कन की तीव्रता 9.2 थी और यह 5 मिनट से थोड़ा कम समय तक चला.

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