सऊदी सरकार के इस फैसले से मचने वाला है हाहाकार !

Saudi Arabia Oil Supply : एक बार फिर से महंगाई के मोर्चे पर सरकार दुबारा कमजोर पड़ती नजर आ रही है। जहाँ सऊदी अरब ने ऐलान किया है कि वह मई महीने से तेल उत्पादन में बड़ी गिरावट करने जा रहा है। क्रूड ऑयल के प्रोडक्शन कम करने से तेल की कीमतें बढ़ेंगी और महंगाई भी बढ़ेगी ! जी हां महंगायी की मार झेलने के लिए तैयार रहिये, क्यूंकि कहाँ तक जायेगी महंगायी इसकी कोई सीमा तय नहीं है.

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प्रतिदिन पांच लाख बैरल की कटौती

सऊदी अरब ने कहा है कि वह मई से 2023 के अंत तक तेल उत्पादन में प्रतिदिन पांच लाख बैरल की कटौती करेगा, जिससे तेल कीमत आसमान छूने लगेगी। इस फैसले से रियाद और अमेरिका के रिश्तों में और तनाव आ सकता है। बता दें कि क्रूड ऑयल के प्रोडक्शन में कमी करने से बाजार में मौजूद तेल की कीमतें बढ़ेंगी जो आम जनता की जेब को और कमजोर कर सकती है. इसका असर सीधे ट्रांसपोर्ट सर्विस पर भी पड़ेगा। क्यूंकि जब ट्रांसपोर्टेशन कॉस्ट अधिक आता है तो कंपनियां कीमतें बढ़ाकर उसे मैनेज करने की कोशिश करती हैं जो आम जनता को चुकानी पड़ती हैं।

तेल बाजार को स्थिर करने के उद्देश्य से एहतियाती कदम

वहिं बात अगर भारत की करें तो यहां पहले से ही महंगाई आरबीआई के तय स्तर से नीचे नहीं आ रही है। आरबीआई की मौद्रिक समिति समय-समय पर इसे काबू करने के लिए बैठक कर रही है। हाल ही में आरबीआई के तरफ से ये सूचना जारी किया गया था कि वित्त वर्ष 2023-24 में मौद्रिक समिति नीति की बैठक 6 बार आयोजित की जाएगी। वैसे इस बार की कटौती पिछले साल अक्टूबर में घोषित कटौती से ज़्यादा होगी। मगर सऊदी अरब ने इस कदम को तेल बाजार को स्थिर करने के उद्देश्य से एहतियाती कदम बताया है।

सऊदी अरब के साथ ही संयुक्त अरब अमीरात और कुवैत की ओर से भी ऐसी ही कटौती होने वाली है। बताया जा रहा है कि तीनों देश संयुक्त तौर पर कुल 772,000 बैरल प्रति दिन की कटौती करेंगे जो मई से प्रभावी होगी। इससे भारत समेत दुनिया के तमाम देशों में कच्चे तेल की कीमतें एक बार फिर से बढ़ सकती हैं। 2020 में कोविड महामारी की पीक के बाद क्रूड ऑयल प्रोडक्शन में यह सबसे बड़ी कटौती है।

पाकिस्तान रूस को कच्चे तेल का पहला ऑर्डर देने की तैयारी में

तेल उत्पादन में इतनी बड़ी कटौती के फैसले से मुद्रास्फीति के और ज्यादा बढ़ने की आशंका है। साथ ही सेंट्रल बैंकों की ओर से ब्याज दरों में और अधिक बढ़ोतरी की जा सकती है। दूसरी ओर, नकदी संकट से जूझ रहा पाकिस्तान अगले महीने रूस को कच्चे तेल का पहला ऑर्डर देने की तैयारी में है। पेट्रोलियम राज्य मंत्री मुसादिक मलिक ने बताया कि इसके बाद तेल को पाकिस्तान पहुंचने में लगभग चार सप्ताह लग जाएंगे। वर्तमान में सबसे ज्यादा विदेशी ऋण और कमजोर स्थानीय मुद्रा से जूझ रहा पाकिस्तान रूस से सस्ती दरों पर कच्चा तेल खरीदने के लिए उत्साहित है।

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